Spiritual Significance Of Navratri
The Spiritual Diya reminds us that the body is made from physical elements and Iam the Soul is Spiritual light. Means Lighting the Diya means Awareness of we are being a Point of light Sparkling Souls and We are ACHIVE Divine Quality Divine Values Virthus.
We Remove Our Maya Vikar Ego Anger Negetive Dirty All Thoughts of all that we have acquired physically – body, wealth, relationships, roles etc We ACHIVE Good Quality And Good Divine Values Good Positive Thoughts in Our Life.
Upvaas or Fasting Is Up-vaas meaning to stay connected with God, who stays above in the soul world, and be close to Him. With the strength of this connection, we pledge that we will not use vices in any thoughts, words and actions and never radiate negativity to others. This is a permanent fast we keep in our lives.
Satvik Food and Purity – Everything we see, read, listen, speak, eat and drink should be full of high spiritual energy to increase Purity of soul and body.
Jagran – Darkness symbolizes absence of the light of values, ignorance of what is right and wrong. Jagran means awakening to a new way of thinking and living, based on true spiritual wisdom shared by God and imbibed in life.
Raas or Garba Dance – A form of dance where each person has to co-ordinate their steps in harmony with the next person’s steps. If any step is missed, the dance gets spoilt and it can cause injury. This symbolizes our relationships, in which we adjust according to the other’s sanskars, which is also called Sanskaron ki Raas. If we adjust and tolerate, life will be a happy dance, else it can turn into conflicts.
✿✿ रुहानी ड्रिल योग अभ्यास ✿✿
कमल फूल समान स्थिति का अनुभव
✿==>> मैं आत्मा... चमकता हुआ हल्का फरिश्ता..अपने आपको एक सुन्दर, साफ़ और सतयुगी नदी के किनारे खड़ा हुआ देखती हूँ। मेरा मन पूरी तरह से शांत है... शीतल है। मैं आत्मा इस समय अपने अतीन्द्रिय सुखों का अनुभव कर रही हूँ। मेरे मीठे बाबा मेरे बिलकुल पास आ गए है और उनके आते ही अनगिनत फूलों की खुशबू आने लगी है। उनकी किरणें मेरे चारों और फैलने लगी है। बाबा अपनी दृष्टि से दो खूबसूरत कमल नदी के शुद्ध पानी के ऊपर विराजमान करते हैं।
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✿==>> मैं अनुभव करती हूँ कि बाबा मेरे सिर पर हाथ रखते हैं। जैसे ही में अपनी स्थूल आँखे बंद करती हूँ बाबा के हाथों से अपने में पवित्रता का वरदान सूक्ष्मता से भरने लगती हूँ और हर अपवित्रता का संकल्प इस वरदान की दृष्टि में समाप्त होता जा रहा है। मैं पवित्रता की किरणों से भरता फरिश्ता अपने को सम्पूर्ण पवित्रता के कार्ब में अनुभव करती हूँ। जब मैं आँखे खोलती हूँ तो खुद को कमल पुष्प के ऊपर विराजमान देखती हूँ।
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✿==>> ये पवित्रता की अनमोल सीट है जो स्वयं भगवान द्वारा दी गई है। बाबा की निरंतर दृष्टि मेरे अंदर के सारे छिपे हुए विकार, कमी कमज़ोरी जो मुझे सम्पूर्ण पवित्र नहीं बनने दे रहे थे वो खत्म हो चुके हैं। बाबा अपनी किरणों द्वारा दूसरे कमल पुष्प पर इस जन्म के युगल को सफ़ेद वस्त्रों में ढके हुए एक फ़रिश्ते के रूप में इमर्ज करते हैं। नदी की शीतल बूंदे और वातावरण में फैली ठंडी हवा हमको पूरी तरह से पावन बनाती जा रही है।
✿==>> बाबा युगल के सर पर बहुत सारे चमचमाते हीरे डालने लगे हैं, जिसके गिरते ही युगल का मस्तिष्क कमल फूल के समान खुलने लगा है और उसे एक एक कर आत्मा ग्रहण करने लगी है। इन हीरों से हर स्थूल और सूक्ष्म अपवित्रता आत्मा में समाप्त होती जा रही है और सम्पूर्ण पवित्रता के स्टेज पर पहुँचने लगी है। बाबा अपने दृष्टि से इस आत्मा का फरिश्ता स्वरूप तैयार कर रहे हैं। इस फरिश्ता स्वरुप में बाबा की किरणों का समुद्र जा रहा है जो इस शरीर को पूरी तरह से पावन और बाबा का बना चुका है।
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✿==>> बाबा से निकलती किरणें हम फरिश्तों पर और हम फरिश्तों से ये किरणें विश्व के हर कोने तक जा रही हैं। बाबा दोनों को आजीवन पवित्रता का वरदान देते है जिसे हम दोनों अपने अवचेतन मन में बिठा चुके हैं कि जब तक जीना है तब तक पवित्रता का गुण धारण करके रहना है। बाबा हम दोनों को किरणों से और वरदानों से भर सूक्ष्म वतन में उड़ा ले चलते है और पवित्रता से भरते हुए सिर पर ताज पहनाकर विश्व महाराजा और विश्व महारानी का वरदान देते है।
Navratri - Invoking Power Within